Light Emitting Diode

 प्रकाश ऊत्सर्जक डायोड (LED)

LED एक P-N संधि डायोड है जो अग्र-अभिनति (Forward Biase ) पर प्रकाश के उत्सर्जन का  कार्य करती है ये निम्न वोल्टेज (1 वोल्ट से 2 वोल्ट) पर तथा निम्न धारा (5 mA से 10 mA) पर कार्य करती है ये छोटे तथा हल्के होते है इनमे कम शक्ति व्यय होता है इसमे दो टर्मिनल एनोड तथा कैथोड होता है एनोड वाला सिरा धनात्मक तथा कैथोड वाला सिरा ऋणात्मक होता है !

इसे Forward Biase में संयोजित किया जाता है तो जंक्शन पर पोटेंशियल बैरियर कम हो जाता है तथा बहुसंख्यक आवेश वाहक (Mejority Carrier) जंक्शन को पार करने लगते है N- क्षेत्र के चालन बैंड (Conduction Band) के इलेक्ट्रॉन जंक्शन को पार करके P- क्षेत्र में जाकर होल्स के साथ संयोग करके समाप्त हो जाते है P- क्षेत्र के कुछ होल्स भी जंक्शन को पार करके N-क्षेत्र में आ जाते है  N-क्षेत्र के चालन बैंड (Conduction Band )  का कोई इलेक्ट्रॉन जंक्शन को बिना पार किये ही होल्स के साथ संयोग कर सकता है इस प्रकार जंक्शन के दोनों तरफ इलेक्ट्रॉन तथा होल्स संयोग की क्रिया प्रारम्भ होती है 

जब उच्च ऊर्जा स्तर के (Higher Energy Level) चालन बैंड से इलेक्ट्रॉन संयोजी बैंड ( Lover Energy Lavel) में आता है तब दोनो ऊर्जा स्तरो की ऊर्जाओं के अन्तर के बराबर ऊर्जा का उत्सर्जन होता है LED में यह ऊर्जा प्रकाश कर रूप में होती है जर्मेनियम तथा सिलिकॉन डायोड में प्रकाश के उत्सर्जन की संभावना बहुत कम होती है ! गैलियम आर्सेनाइड फास्फाइड(Ga As P) ,  गैलियम फॉस्फाइड (Ga P) का प्रयोग करके बनाये गए LED लाल, हरा तथा भुरे रंग के प्रकाश का उत्सर्जन करते है 

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